Movie Time
Yesterday was through and through movie time. I started out by watching "The Stepford wives". Needless to say it was a drag. Then i went to the movie hall and watched "The Bourne supremacy". The movie was as good as the book, need i say more. You would think i was exhausted by this point. Heh. I proceeded to watch "The chronicles of Riddick". The movie looked more like a video game but i have to watch it again to absorb it fully or to ridicule it.
Met a few friends and proceeded to imbibe a tad from 9:00 to 12:00.
फिर आई बारी "हलचल" की | आप लोग जरूर देखें | हँसते हँसते पेट दुख गया | परेश रावल और अरशद वारसी ने अच्छा अभिनय किया है | करीना को अभिनय नही आता पर उफ्फ तौबा ! आखें चुँधिया गईं | " रोशन जमाले यार से है अन्जुमम तमाम " करीना के लिऍ सटीक है |
तू नें यह फूल जो जुल्फों में सजा रख्खा है ,
ऐक दीया है जो अँधेरों में जला रख्खा है
Met a few friends and proceeded to imbibe a tad from 9:00 to 12:00.
फिर आई बारी "हलचल" की | आप लोग जरूर देखें | हँसते हँसते पेट दुख गया | परेश रावल और अरशद वारसी ने अच्छा अभिनय किया है | करीना को अभिनय नही आता पर उफ्फ तौबा ! आखें चुँधिया गईं | " रोशन जमाले यार से है अन्जुमम तमाम " करीना के लिऍ सटीक है |
तू नें यह फूल जो जुल्फों में सजा रख्खा है ,
ऐक दीया है जो अँधेरों में जला रख्खा है
2 Comments:
बोर्न सुप्रिमेसी? देखनी पड़ेगी फिर तो।
देर न करिऐ, पहली फुरसत में देख लीजिऐ |
परसों मै देखने जा रहा हुँ "I, Robot" |
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